देहरादून । उत्तराखंड की त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार को कई मुद्दों पर घेरने वाली कांग्रेस पिछले कुछ समय से काफी आक्रामक अंदाज में है। सरकार के कई फैसलों पर धरना-प्रदर्शन करने वाली कांग्रेस ने पार्टी को कई मुद्दों पर बैकफुट पर भी डाला है, लेकिन एक बार फिर से कांग्रेस में फूट की खबरें आ रही हैं। असल में कांग्रेस के पूर्व विधायक गणेश गोदियाल ने अपनी ही पार्टी की वरिष्ठ नेता और सदन में नेता प्रतिपक्ष इंदिरा ह्रदयेश से उनके इस्तीफे की मांग कर डाली। इतना ही नहीं गोदियाल ने इंदिरा ह्रदयेश पर सत्तारूढ़ दल के साथ सांठगांठ करने का आरोप लगाया है। हालांकि ह्रदयेश ने उल्टा गोदियाल पर सवाल उठाते हुए कहा कि वह इस्तीफा मांगने वाले कौन होते हैं। इस्तीफा मांगने का हक सिर्फ पार्टी अध्यक्ष को है।
बता दें कि प्रदेश में जहरीली शराब के मुद्दों समेत गन्ना किसानों के बकाए को लेकर कांग्रेस ने सरकार को आड़े हाथों लिया है। इस दौरान राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने विधानसभा के बाहर एक दिन का उपवास करने का ऐलान किया, जिसकी खबर सुनते ही कई अन्य कांग्रेसी दिग्गज उनका साथ देने के लिए आ गए, लेकिन विधानसभा की ओर बढ़ने के दौरान पुलिस वालों ने हरीश रावत और अन्य को रोका तो सभी वहीं धरने पर बैठ गए।
इससे इतर विधानसभा के स्थगित होने पर कांग्रेस अध्यक्ष प्रीतम सिंह और नेता प्रतिपक्ष इंदिरा ह्रदयेश भी धरनास्थर पर कुछ विधायकों के साथ पहुंची। इस दौरान वहां मौजूद पूर्व कांग्रेसी विधायक गणेश गोदियाल ने ह्रदयेश पर गंभीर आरोप लगाते हुए उनका इस्तीफा मांग लिया। गोदियाल का कहना था कि नेता प्रतिपक्ष ने सदन के भीतर अपने काम को सही तरीके से अंजाम नहीं दिया। इस दौरान उन्होंने उन्होंने नेता प्रतिपक्ष पर सत्तापक्ष से सांठ गांठ करते हुए कांग्रेस को कमजोर बनाने का आरोप लगाया।
जहां एक ओर गोदियाल नेता प्रतिपक्ष पर आरोप लगा रहे थे, वहीं इंदिरा ह्रदयेश ने भी गोदियाल के आरोपों पर पलटवार करते हुए कहा कि मैं आपके कहने पर कोई इस्तीफा देने नहीं जा रहीं हूं। अगर कोई मुझसे मेरा इस्तीफा मांग सकता है तो वह कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी हैं।